अकाउंटिंग और ऑडिटिंग फील्ड में करियर कैसे बनाये, SearchDuniya
अकाउंटिंग और ऑडिटिंग फील्ड में करियर बनाने की जानकारी
अकाउंटिंग और ऑडिटिंग फील्ड में करियर कैसे बनाये, SearchDuniya: अकाउंटिंग फील्ड मे आपको किसी संस्था में रोजा के लेन-देन का हिसाब रखना होता है और ऑडिटिंग के अंतर्गत आपको संस्था की अकाउंटिंग बुक्स की समीक्षा करनी होती है, अधिकतर कंपनी अपने यहाँ अकाउंटिंग के लिए जॉब निकलती है, लेकिन अकाउंटिंग के कार्य कि जाँच किसी अन्य व्यक्ति या संस्था से करवाते है, उसे ही ऑडिटिंग कहा जाता है, भारत में कंपनी अधिनियम के अनुसार किसी कंपनी का आडिट केवल चार्टर्ड एकाउंटेंट के द्वारा ही हो सकता है, इसलिए चार्टर्ड एकाउंटेंट का पद बहुत ही महत्वपूर्ण माना जाता है, अकाउंटिंग और ऑडिटिंग फील्ड में करियर बनाने की सम्पूर्ण जानकारी आपको इस पोस्ट मे विस्तार से बताने वाले है तो आप इस पोस्ट को आखिर तक पढ़ते रहिए।
सरकारी क्षेत्र में अवसर
कर्मचारी चयन आयोग (एसएससी) द्वारा इसके लिए हर वर्ष नोटिफिकेशन जारी किया जाता है, जिसके माध्यम से आप सरकारी नौकरी प्राप्त कर सकते है, एसएससी की परीक्षा के बाद अगर आपका चयन होता है, तो आपको सार्वजनिक क्षेत्रों के बैंकों, आयकर या सीमा शुल्क कार्यालयों, सार्वजनिक क्षेत्र की किसी भी इकाई जैसे बिजली बोर्ड आदि में आपको ज्वाइनिंग मिल सकती है।
अकाउंटिंग और ऑडिटिंग फील्ड में करियर बनाने के लिए शैक्षणिक योग्यता
इस क्षेत्र मे करियर बनाने के लिए अभ्यर्थी को 12वीं कक्षा पास होना आवश्यक है, इसके पश्चात् आप बैचलर या डिप्लोमा कोर्स में प्रवेश प्राप्त कर सकते है।
प्रवेश प्रक्रिया
इसके लिए कुछ विश्वविद्यालय और कॉलेज 12वीं की परीक्षा में प्राप्त अंको के आधार पर मेरिट बना कर प्रवेश देते है, और कुछ कॉलेज प्रवेश परीक्षा, ग्रुप डिस्कशन व साक्षात्कार के बाद प्रवेश देते हैं।
ऑडिटिंग के प्रसिद्ध सर्टिफिकेशन
आईसीएआई सर्टिफिकेशन (भारत)
12वीं की परीक्षा के बाद आप चार्टर्ड अकाउंटेंट बननें के लिए कॉमन प्रोफिशिएंसी टेस्ट (सीपीटी) दे सकते है, इस परीक्षा का आयोजन वर्ष में दो बार किया जाता है, पहली बार यह जून महीनें में और दूसरी बार दिसंबर महीनें में आयोजित की जाती है, कॉमर्स संकाय से स्नातक उत्तीर्ण छात्र 55 प्रतिशत तथा साइंस व आर्ट्स ग्रेजुएट के छात्रों को 60 फीसदी अंक सीपीटी परीक्षा में सम्मिलित होने के लिए अनिवार्य है।
सर्टिफाइड इंटरनल ऑडिटर (सीआईए)
वैश्विक स्तर पर एक ऑडिटर के रूप में कार्य करने के योग्य होने के लिए एक अकाउंटेंट के पास यह सर्टिफिकेशन होना आवश्यक है, यह सर्टिफिकेशन इंस्टीट्यूट ऑफ इंटरनल ऑडिटर्स (आईआईए) द्वारा कराया जाता है।
सीआईए के लिए योग्यता
अभ्यर्थी को स्नातक पास होना आवश्यक है, इसकी समय अवधि चार साल की होती है, इसकी सभी परीक्षाओं को इस अवधि में पास होना आवश्यक है, इसको सफलता पूर्वक पास होने के बाद आपको दो वर्ष का इंटरनल ऑडिट में अनुभव प्राप्त करना होगा है, यदि अभ्यर्थी एमकॉम उत्तीर्ण है, तो उसके लिए केवल एक वर्ष का अनुभव अनिवार्य है।
ऑडिटिंग में जॉब के अवसर
भारत में ऑडिटिंग के जॉब आपके पास इंटरनल ऑडिटर, एक्सटर्नल ऑडिटर, गवर्नमेंट ऑडिटर, फॉरेंसिक ऑडिटर के रूप में प्राप्त होते है, यह अवसर आपको मेन्युफैक्चरिंग सेक्टर, इंश्योरेंस व बैंकिंग सेक्टर, कॉर्पोरेट, पब्लिक सेक्टर, एनजीओ आदि में आसानी से प्राप्त हो सकते है।
अकाउंटेंसी के प्रमुख सर्टिफिकेट
अकाउंटेंसी के क्षेत्र में प्रमुख सर्टिफिकेट इस प्रकार है जो आपको नीचे समझाये गए है।
एसोसिएशन ऑफ चार्टर्ड सर्टिफाइड अकाउंटेंट्स
अकाउंटेंसी के क्षेत्र में प्रवेश के लिए एसीसीए सर्टिफिकेट को पासपोर्ट माना जाता है, जिसके माध्यम से आप इस क्षेत्र में आसानी से प्रवेश ले सकते है, इस सर्टिफिकेट के द्वारा छात्र अकाउंटिंग और फाइनेंस मैनेजर के रूप में कार्य कर सकते है।
एसीसीए के लिए योग्यता
12वीं की परीक्षा पास करने के बाद आप इसमें प्रवेश प्राप्त कर सकते है, इसकी अवधि तीन साल की है, कॉमर्स संकाय से पास छात्र के लिए इसकी अवधि दो से ढाई साल की होती है, इस सर्टिफिकेट के माध्यम से आप मैनेजमेंट अकाउंटिंग एग्जीक्यूटिव, अकाउंट एग्जीक्यूटिव, क्रेडिट असिस्टेंट, असिस्टेंट फ्यूचर्स ट्रेड, असिस्टेंट टैक्स ऑफिसर आदि पदों पर कार्य कर सकते है।
सर्टिफाइड मैनेजमेंट अकाउंटेंट (सीएमए)
सीएमए सर्टिफिकेट विश्व स्तर पर मान्य है, इसको करने के बाद आप किसी मल्टीनेशनल कंपनी में जॉब प्राप्त कर सकते है, इसके माध्यम से आप किसी भी बहुराष्ट्रीय कंपनी के वित्तीय रिकॉर्ड को चेक कर सकते है, इस सर्टिफिकेट को इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट अकाउंटेंट द्वारा सीएमए (अमेरिका) के लिए जारी किया जाता है, इसकी अवधि छ: महीनें की होती है भारत के लिए यह सर्टिफिकेट इंस्टीट्यूट ऑफ कॉस्ट अकाउंटेंट्स ऑफ इंडिया जारी करता है, इस कोर्स की अवधि तीन से लेकर चार साल की होती है।
शैक्षिक योग्यता की जानकारी
स्नातक की परीक्षा उत्तीर्ण होने के बाद इसके साथ अतिरिक्त कोर्स के रूप में फाइनेंस और अकाउंटिंग में डिग्री होनी चाहिए, इसके लिए दो वर्ष का अनुभव आवश्यक है।
प्राप्त होने वाले पदों की जानकारी
फाइनेंस मैनेजर, अकाउंटिंग मैनेजर, बजटिंग मैनेजर, इंटरनल ऑडिटर, इनवेस्टमेंट मैनेजर, कॉस्टिंग और फाइनेंशियल मैनेजर आदि।
सर्टिफाइड पब्लिक अकाउंटेंट (सीपीए)
यह सर्टिफिकेट अंतर्राष्ट्रीय मान्यता प्राप्त है, इस कोर्स को सीए व समकक्ष कोर्स वाले,एमकॉम और एमबीए किए हुए अभ्यर्थी कर सकते है, इस कोर्स में स्नातक और परास्नातक के आधार पर क्रेडिट आवर्स निर्धारित किये जाते है, अधिकतर राज्यों में बीकॉम के आधार को स्वीकार्य नहीं किया है, इसकी अवधि एक वर्ष छ: महीनें की होती है, अभ्यर्थी को इसके अंदर परीक्षा पास करनी आवश्यक है।
सॉफ्टवेयर्स का ज्ञान
अभ्यर्थी को छोटी कम्पनी में कार्य करने के लिए ईआरपी, टैली, क्विकबुक्स जैसे सॉफ्टवेयर का प्रयोग करना आना चाहिए, बड़ी कंपनियों में जोहोबुक्स, बिजी, मार्ग जैसे सॉफ्टवेयर का प्रयोग किया जाता है, इसलिए यदि आपको इन सॉफ्टवेयर का सही से ज्ञान है, तो आपको जॉब मिलनें की संभावना अधिक हो जाती है।
वेतन – Salary
इस क्षेत्र में अच्छी डिग्री प्राप्त करने के बाद अच्छा अनुभव होना आवश्यक है, इसके बाद आपके पास जॉब के बहुत से अवसर होंगे, भारत में एक ऑडिटर का वेतन लगभग तीन से चार लाख रुपये प्रतिवर्ष तक होता हैं, अकाउंटेंट के रूप में आप दो से साढ़े तीन लाख रुपये प्रतिवर्ष तक आसानी से प्राप्त कर सकते है, यह वेतन पद और अनुभव के आधार पर बढ़ता रहता है।
इस पोस्ट मे हमने आपको अकाउंटिंग और ऑडिटिंग फील्ड में करियर कैसे बनाये, SearchDuniya इसके लिए योग्यता क्या होनी चाहिए, आदि की सम्पूर्ण जानकारी प्रदान की है उम्मीद है की आपको यह जानकारी जरूर अच्छी लगी होगी। आप करियर से जुड़ी सम्पूर्ण जानकारी पाने के लिए SearchDuniya.In से जुड़ सकते है। अगर आपके मन मे कोई सवाल है तो आप कमेंट करके पुछ सकते है।
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